नयी दिल्ली 21 अप्रैल वित्त वर्ष 2024-25 के खादी और ग्रामोद्योग आयोग का कारोबार स्वतंत्र भारत के इतिहास में पहली बार एक लाख 70 हजार करोड़ रुपये के पार हो गया है।
आयोग के अध्यक्ष मनोज कुमार ने सोमवार को यहां वित्त वर्ष 2024-25 के अनंतिम आंकड़े जारी करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में खादी एवं ग्रामोद्योग आयोग ने नया कीर्तिमान रचा है। उन्होंने कहा कि पिछले 11 वर्षों में खादी उत्पादन में 347 प्रतिशत के उछाल के साथ चार गुना और बिक्री में 447 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ पांच गुना की वृद्धि हुई है। इसी अवधि में कुल रोजगार सृजन के क्षेत्र में 49.23 प्रतिशत की ऐतिहासिक बढ़ोतरी दर्ज की गयी है और 1.94 करोड़ लोगों को रोजगार मिला है।
उन्होंने बताया कि खादी-ग्रामोद्योग भवन नयी दिल्ली का कारोबार पहली बार रिकॉर्ड 110.01 करोड़ रुपये के आंकड़े तक पहुंचा है।
श्री कुमार ने बताया कि वित्त वर्ष 2013-14 में खादी और ग्रामोद्योग उत्पादों का उत्पादन जहां 26109.07 करोड़ रुपये का था, वहीं वित्त वर्ष 2024-25 में यह करीब चार गुना बढ़कर 347 प्रतिशत के उछाल के साथ 116599.75 करोड़ रुपये पहुंच गया। वित्त वर्ष 2013-14 में बिक्री जहां 31154.19 करोड़ रुपये थी, वहीं करीब पांच गुना बढ़कर 447 प्रतिशत की अभूतपूर्व वृद्धि के साथ यह वित्त वर्ष 2024-25 में 170551.37 करोड़ रुपये पहुंच गई, जो कि अब तक की सर्वाधिक बिक्री है।
उन्होंने कहा कि खादी एवं ग्रामोद्योग आयोग का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में ज्यादा से ज्यादा रोजगार के अवसर उपलब्ध करना है। ग्रामोद्योग विकास योजना के अंतर्गत अभी तक 39244 विद्युत चालित चाक, 227049 मधुमक्खी बॉक्स और मधु कालोनी, 2344 ऑटोमैटिक और पैडल चालित अगरबत्ती निर्माण मशीन, 7735 फुटवियर मैन्युफैक्चरिंग और रिपेयरिंग टूलकिट, 964 पेपर प्लेट और दोना निर्माण मशीन, 3494 एसी, मोबाइल, सिलाई, इलेक्ट्रिशियन, प्लंबर टूलकिट, 4555 टर्नवुड, वेस्टवुड क्रॉफ्ट, लकड़ी के खिलौने बनाने की मशीन के साथ ही 2367 पामगुड़, तेल घानी और इमली प्रसंस्करण मशीन का वितरण किया गया है।
श्री कुमार ने कहा कि पिछले 10 वर्षों में 7,43,904 प्रशिक्षुओं को प्रशिक्षण दिया गया है, जिसमें 57.45 प्रतिशत यानी 4,27,394 महिलाएं हैं। इसके अलावा पांच लाख खादी कारीगरों में भी 80 प्रतिशत महिलाओं की भागीदारी है।
आरबीआई ने तरलता मानकों को और मज़बूती देने के उद्देश्य से तरलता कवरेज अनुपात (LCR) ढांचे में संशोधन संबंधी अंतिम दिशा-निर्देश सोमवार को जारी कर दिए। ये दिशा-निर्देश 25 जुलाई, 2024 को जारी मसौदा परिपत्र के आधार पर तैयार किए गए हैं, जिसमें बैंकों और अन्य हितधारकों से सुझाव आमंत्रित किए गए थे।
मंत्रालय ने भारत नेट के बारे में प्रश्नोत्तर के रूप में सोमवार को बताया कि इस कार्यक्रम से औसत मोबाइल ब्रॉडबैंड स्पीड में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है और ये प्रयास डिजिटल अंतर पूरा करने में भारतनेट के पूरक हैं।
कंपनी ने मंगलवार को बताया कि इस साझेदारी के तहत टीसीएस अपने वैश्विक स्तर पर सिद्ध टीसीएस बैंक्स ट्रेडिंग समाधान को तैनात करेगा। यह ग्राहकों के लिए बेहतर प्रदर्शन, स्थिरता और यूजर अनुभव सुनिश्चित करेगा।