पीएम मोदी ने छात्रों से परीक्षा पे चर्चा, बताया मोटिवेशन का कोई फॉर्मूला नहीं, खुद का आकलन करें कि क्या आपके लिए ज्यादा सही
प्रतियोगिता नहीं तो जिंदगी किस बात की
पीएम मोदी ने छात्रों से कहा कि अगर प्रतियोगिता नहीं तो जिंदगी किस बात की। हमें प्रतियोगिता को आमंत्रित करना चाहिए। यह जीवन को आगे बढ़ाने का बेहतर माध्यम है। आप उस भाग्यवान पीढ़ी के हैं जिसे ज्यादा प्रतियोगिता और ज्यादा अवसर मिले हैं। पहले की पीढ़ी के पास में यह अवसर नहीं था।
आज हर परिवार के लिए बेटी बहुत बड़ी शक्ति- पीएम मोदी
पीएम मोदी ने कहा, आज हर परिवार के लिए बेटी बहुत बड़ी शक्ति बन गई हैं. ये बदलाव बहुत अच्छा है. ये बदलाव जितना ज्यादा होगा, उतना लाभ होगा. आज खेलकूल में भारत की बेटियां हर जगह पर अपना नाम रोशन कर रही हैं. विज्ञान के क्षेत्र में हमारी बेटियों का आज पराक्रम दिखता है. 10वीं, 12वीं में भी पास होने वालों में बेटियों की संख्या ज्यादा होती हैं.
एग्जाम में जाकर भूल जाते हैं, याद कैसे रखें?
पीएम मोदी ने जवाब दिया, 'हर बच्चे के मन में यह आता है कि मै यह भूल गया लेकिन अगर आप देखेंगे कि एग्जाम से पहले ऐसी चीज़ें आएगी की यह तो कभी हफ्ते भर में देखा नहीं था. अगर आप यहां आए लेकिन आप सोच रहे होंगे कि मम्मी घर पर टीवी देख रही होंगी और मुझे देखा होगा कि मैं किस कोने में बैठा हूं. तो अगर आपका ध्यान वहां है तो आप यहां है ही नहीं. परमात्मा की सबसे बड़ी सौगात 'वर्तमान' है. मेमोरी का भी यही कारण है कि हम उस पल को नहीं जी रहे है. मेमोरी का संबंध जीवन से है सिर्फ एग्जाम से नहीं. बहुत आसानी से आप इसको कर सकते है.. मन स्थिर रखिए.'
क्या सोशल मीडिया से जो ध्यान हटता है उसका कुछ उपाय है?
इस सवाल के जवाब में पीएम मोदी ने कहा, 'जब आप ऑनलाइन पढ़ाई करते है तो read करते है या reels देखते है. क्लास में भी बहुत बार होता होगा लेकिन काम में एक भी बात नहीं जाती होगी. आपका मन कहीं और होगा. अगर मन नहीं हो तो सुनना बंद हो जाता है. माध्यम समस्या नहीं है मन समस्या है. माध्यम ऑनलाइन हो या ऑफलाइन लेकिन अगर मेरा मन उस तरफ जुड़ा हुआ है तो आपके लिए ऑनलाइन और ऑफलाइन कोई फर्क होता है. समय के हिसाब से माध्यम भी बदलते रहते है.'